तनाव क्या होता है ? What is Stress in Hindi?
वर्तमान समय में प्रत्येक व्यक्ति तनाव से ग्रसित है। वर्तमान स्थिती को देखते हुए अगर हम यह कहें की यह तनाव का युग है तो इसमें कोई आश्चर्य की बात नहीं होनी चाहिए।
अमेरिका में फिलहाल कुल आबादी के 10% लोग तनाव से पीड़ित हैं। हमारे देश में यह संख्या अभी कम है।वर्तमानं में यदि देखा जाए तो शहर के लोगों में तनाव के मामले ज्यादा देखे गए।मगर अभी पिछले 1 साल से अगर देखा जाए तो तनाव के मामलों में बड़ी तेजी से वृद्धि हुई है।
मनुष्य को खाने-पीने, महंगाई, शादी की चिंता,
सामाजिक संबंधों का टूटना, परिवारों में कलह होना, संतान की उत्पत्ति न होना, गंभीर बीमारी होना आदि कारणों से व्यक्ति चिंता में रहता है। जिसके कारण व्यक्ति मानसिक रूप रूप से तनाव महसूस करता।
तनाव कितने प्रकार का होता है?
तनाव दो प्रकार का होता है।
1.EUSTRESS क्या होता है?
यह stress व्यक्ति के जीवन में एक सकारात्मक रूप सेमाना जाता है।क्योंकि यह तनाव आपको जीवन में कुछ करने के लिए प्रेरणा देता है।तथा आपको प्रतिस्पर्धी बनाने में सहायक होता है।चलिए आगे जानते हैं कुछ EUSTRESS के फायदे जो निम्न प्रकार से हैं –
- चुनौतियों को पूरा करने में मदद करता है।
- किसी प्रतियोगिता में जितने के लिए प्रोत्साहित करता है।
- यह आपके शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाता है।
- EUSTRESS आपको जीवन में आशा तथा संतुष्टि प्रदान करता है।
- इस प्रकार का तनाव आपको अपना लक्ष्य पूरा करनेके लिए प्रेरित करता है।
- EUSTRESS आपको मानसिक रूप से मजबूत बनाता है।
2. Distess क्या होता है?
इस प्रकार के स्ट्रेस को नकारत्मक तनाव माना गया है क्योंकि यह आपको शरीर को नुक्सान पहुंचाने वाला स्ट्रेस होता है।
इसके कारण आपको मानसिक तथा शारीरिक बीमारियां हो सकती हैं।
इस प्रकार का स्ट्रेस आपकी सेहत की लिए बहुत हानिकारक होता है इसलिए आपको इससे बचना चाहिए।
तनाव के लक्षण – Stress Symptoms in Hindi ?
- बिना किसी कारण के क्रोध करना
- किसी दूसरे व्यक्ति पर विश्वास नहीं करना
- पूरे दिन निराश रहना
- पूरे दिन चिंता में पड़े रहना
- वर्तमान की समस्या को कल पर टालना
- किसी कार्य की शुरुआत करने से डरना
- मन का चंचल हो ना
- मन में घबराहट होना
- भोजन समय पर नहीं करना
- समय पर आराम नहीं करना
- भयभीत होकर जीवन व्यतीत करना
- दैनिक गतिविधयों बाधित होना
- मानसिक एकाग्रता कम होन
- मनमे आत्महत्या विचार आना
- अति संवेदनशील व आक्रामक होना
तनाव के कारण – Causes of Stress in Hindi?
- तनाव रोग मानसिक दुर्बलता के कारण होता है
- पाचन तंत्र खराब संत होने के कारण
- वर्तमान परिस्थितियों के साथ तालमेल ना बैठा पाना
- किसी काम को करने में रुचि न होना
- किसी कार्य को अधिक मात्रा में करना
- कोई लंबी बीमारी के कारण
- व्यक्ति के खून में निकोटीन की मात्रा बढ़ने के कारण
- पारिवारिक कलह के कारण
- बेरोजगारी के कारण
- अचानक नौकरी से निकाले जाने के कारण
- परिवार में किसी की अकाल मृत्यु के कारण
- आर्थिक संकट के कारण भी स्ट्रेस हो सकता है
- बच्चों का माता पिता से नाराज़ होकर घर छोड़ देना
- जीवन साथी का निधन हो जाना
- अपने जीवन साथी से अलग होना या तलाक होना
- सेक्स सम्बन्धित कोई समस्या होना
बच्चों में तनाव होने के कारण
- अतिरिक्त पढ़ाई के दबाव के कारण
- Gf या Bf से ब्रेकअप होने के कारण।
- अपने भविष्य को लेकर चिंतित होना
- माता पिता के आपस में सम्बन्ध अच्छे ना होने के कारण भी बच्चे तनाव में आ जाते है।
- घटते हुए रोजगार के अवसरों के कारण
- माता – पिता की बीमारी के कारण
- परिवार पर आर्थिक संकट आने पर भी बच्चे मानसिक रूप से पीड़ित महसूस करते हैं।
तनाव से होने वाली बीमारियां – Stress Ke Karan Hone Wali Bimariya
शारीरिक बीमारिया – Physically Diseases Due to Stress in Hindi
- ह्रदय संबंधी रोग
- अस्थमा
- मधुमेह
- उच्च रक्तचाप
- निम्न रक्तचाप
- सिर में दर्द होना
- कब्ज की समस्या होना
- अल्सर होना
मानसिक बीमारियां – Mentally Diseases Due to Stress in Hindi
- पागलपन
- समय पर नींद नहीं आना
- शरीर में कमजोरी आना
- अवसाद की समस्या होना
स्ट्रेस का परीक्षण कैसे करें ? How to Dignosis Stress in Hindi
यदि आपको ऊपर दिए गए लक्षणों में से अधिकतर आपसे मिलते झूलते हैं तो आपको मनोचिकित्सीक के पास जाना चाहिए।हम आपको ऐसा इसलिए बोल रहे हैं क्योंकि मानसिक समस्याओं का पता तभी लगता है जब एक मनोचकित्सक आपसे आमने सामने बातचीत करे तथा आपके व्यवहार को तथा दिनचर्या को अच्छे से जान सके।
वह आपके साथ सवाल जवाब भी करेगा जिससे वह आपकी वर्तमान स्तिथि को जान लेगा जिसके फलस्वरूप आपका आगे का इलाज शुरू कर दिया जाएगा।
तनाव का इलाज कैसे करें ? Stress Management in Hindi
तनाव एक ऐसी समस्या है जिसमें आपको अपने आप सेलड़ाई लड़नी पड़ती है।
सबसे पहले इस बात को स्वीकार लें कि यह लड़ाई केवल आप स्वयंम को लड़नी है और इस लड़ाई के योद्धा आप खुद हो।आपने फिल्मों तथा पुरानी कथाओं में देखा होगा कि एकयोद्धा कैसे लड़ाई लड़ता है। तो अपने अंदर उस योद्धा वाली feeling लेकर आएं।
तो आगे चलिए और देखते हैं कि आपको तनाव से लड़ने में कौन-कौन से उपाय फायदेमंद हो सकते हैं – Stress free life tips in Hindi
- सबसे पहले तो आपको अपनी दिनचर्या बदलनी होगी। क्योंकि तनाव के उपचार में अच्छी दिनचर्या पहली सीढ़ी है। (ये भी पढे : दिनचर्या क्या होती है ? )
- इसके बाद आप अपनी समस्याओं को एक कागज पर लिख लें और उन सब समस्याओं को एकांत में बैठकर सोचे कि इन समस्याओं में से ऐसी कौन सी समस्या है, जिसका समाधान आप कर सकते हैं। उसका आप समाधान करे और जो समस्या आपके नियंत्रण में नहीं है। उसे वक़्त और ईश्वर पर छोड़ देक्योंकि वक़्त और ईश्वर दोनों में बड़े से बडी समस्या का समाधान करने की ताकत है।इसलिए आप निश्चिंत रहें।
- यदि आप तनाव से छुटकारा पाना चाहते हैं तो आपको दैनिक जीवन में योग, प्राणायम, तथा ध्यान का अभ्यास शुरू करना होगा।क्योंकि इससे आपके मानसिक स्वास्थ्य के साथ साथशारीरिक स्वास्थ्य भी प्राप्त होगा।
- हमेशा खुश रहने की कोशिश करें,विचार करें कि आपको क्या करना पसंद है? किससे आपको खुशी मिलती है? इसी चीजों का चयन करें और आनंदित होकर उस काम में लग जाए।
- अपने आहार में फल तथा सब्जियों का सेवन ज्यादा करें,जितनी सब्जी कच्ची खा सके उतनी कच्ची ही खाएं।
- फलों के जूस का सेवन करें, कम से कम दिन में दो बार।
- अपने सम्पूर्ण शरीर पर मालिश करवाए।इससे आपकी मांसपेशियों के साथ आपका मन भी हल्का हो जाएगा।
- अपने परिवार के सदस्यों के साथ बातचीत करें।आपस में हंसी मजाक करें, इससे आपके परिवार में एकता और खुशी का माहौल बनेगा।
- अपने दैनिक जीवन में उन कार्यों को पहचाने जो आपके लिए कोई महत्व नहीं रखते।और उन्हें आगे से करना बन्द कर दें।
- नशीले पदार्थों जैसे कि धूम्रपान, शराब, तथा अन्य मादक पदार्थो का सेवन ना करें,क्योंकि इससे आपके भविष्य में काफी समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है।
- अपने दोस्तों के साथ बाहर घूमने जाएं। तथा मैदान में खेलने जाए।
- सुबह Morning Walk पर जाएं।इससे आपको ताजी हवा मिलेगी ।जिससे आपका मन प्रसन्न हो जाएगा।और मानसिक शांति मिलेगी।
- Gym भी ज्वाइन कर सकते हैं।इससे भी आपको शरीर में ताकत मिलेगी और आपका आत्मविश्वास भी बढ़ेगा।
- अपने मनपसंद पुस्तक पढ़ेक्योंकि ऐसा करने से आपके दिमाग की Exercise भी हो जाएगी,और आपको Knowledge भी बढ़ेगी।
- आपके साथ अगर कोई घटना हुई है और आप उसमे कोई बदलाव नहीं कर सकते हैं तो उसे स्वीकार कर लें और जीवन में आगे बढ़े।
- अपने परमात्मा में ध्यान लगाएं तथा दैनिक जीवन में थोड़ा समय अपने परमात्मा के लिए भी निकाले और जो समस्या आपके नियंत्रण में नहीं हैं। वो ईश्वर के ऊपर छोड़ कर चिंता मुक्त रहें।